सागर में यूनिवर्सिटी जैसा शिक्षा का मंदिर स्थापित करने वाले डॉ हरीसिंह गौर सागर ही नहीं समूचे देश और विश्व के लिए प्रेरणास्रोत हैं : निगमायुक्त
गौर उत्सव के चलते नगर निगम ने शहर में सौन्दर्यीकरण व स्वच्छता के विशेष प्रबंध किये
डॉ गौर को 6.5 किलोमीटर की पहनाई जाने वाली माला के फूल नगर निगम द्वारा एकत्र कर पुनःउपयोग हेतु सेल्फ हेल्प ग्रुप तक पहुंचेंगे
सागर। सागर विश्वविद्यालय के संस्थापक और महान दानवीर विधिवेत्ता, शिक्षाविद, समाजसुधारक डॉ. हरीसिंह गौर की जयंती पर सागर में गौर उत्सव मनाने का उत्साह सागर शहर से लेकर डॉ हरीसिंह गौर सेंट्रल विश्वविद्यालय तक हर जगह दिखाई दे रहा है। नगर निगम आयुक्त श्री राजकुमार खत्री ने कहा की सागर में यूनिवर्सिटी जैसा शिक्षा का मंदिर स्थापित करने वाले डॉ हरीसिंह गौर सागर ही नहीं समूचे देश और विश्व के लिए प्रेरणास्रोत हैं।उन्होंने इस उत्सव सत्र को देखते हुये शहर के मुख्य स्थलों की साजसज्जा, सौन्दर्यीकरण, साफ-सफाई आदि विभिन्न नागरिक सेवाओं की बेहतर व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए नगर निगम कार्यालय में अधिकारीयों की बैठक लेकर आयोजन स्थल का निरीक्षण किया और अधिकारीयों को दिशा-निर्देश दिये। उन्होंने कहा की सोमवार दिनांक 25 नवंबर को सागर में तीनबत्ती कटरा स्थित गौर मूर्ति से सुबह 7 बजे फूलों की साढ़े छः किलोमीटर लम्बी विशाल माला विश्वविद्यालय प्रांगण में स्थापित गौर मूर्ति तक लेजाकर पहनाई जायेगी।
87 स्कूल-कॉलेज के विद्यार्थी, एनजीओ, समाजसेवी संस्थाएं और डॉ गौर के शहर सागर के नागरिक डॉ गौर को भारत रत्न दिलाने की मांग के समर्थन में इस विशेष आयोजन में बड़ी संख्या में शामिल होंगे। उन्होंने कहा की सभी सफाई दरोगा और जोन प्रभारी इस आयोजन में स्वच्छता का विशेष प्रबंध करें। आयोजन स्थल की साफ-सफाई कर चूना डलवाएँ और आयोजन पश्चात यहां एकत्र फूल माला आदि को नगर निगम के वाहनों द्वारा एकत्र कर सेल्फ हेल्प ग्रुप या अन्य ऐसी संस्था तक पहुंचायें जो इन फूलों का पुनः उपयोग कर अगरबत्ती, सजावटी सामग्री आदि उत्पाद बनायें।
गौर उत्सव के चलते नगर निगम द्वारा ये प्रबंध किये गये
शहर के वाणिज्यकर चौराहे के पास स्थित डॉ गौर प्रतिमा प्रांगण सहित आस-पास के परिसर को लाल पेंट कर आकर्षक बनाया गया। दीवारों पर लोककला को दर्शाती पेंटिंग बनाई गई हैं। स्टील रैलिंग से सुरक्षित प्रांगण में आकर्षक लाइटिंग के बीच डॉ हरीसिंह गौर प्रतिमा को पेंट किया गया और गोल्डन छत्र लगाया गया है। डॉ हरीसिंह गौर की प्रतिमा पर लगाये गये गोल्डन छत्र की चमक से वाणिज्यकर चौराहे के पास बना गौर प्रतिमा प्रांगण दमक उठा है। कटरा तीनबत्ती स्तिथ डॉ गौर की प्रतिमा की धुलाई और साफ-सफाई के निर्देश दिये गये हैं। कटरा से विश्वविद्यालय तक 6.5 किलोमीटर की फूल माला पहनाये जाने के पहले आयोजन मार्ग की साफसफाई कर चूना डलवाया जायेगा और आयोजन के दौरान और उसके बाद भी शहर की स्वच्छता बनाये रखने हेतु 6 जोनल व 13 दरोगा अपनी सफाईमित्रों की टीम सहित उपस्तिथ रहकर स्वच्छता सुनिश्चित करेंगे। नगर निगम का स्वच्छता रथ सहित 5 ट्रेक्टर, डंफर, पानी टेंकर और अन्य वाहन भी इस आयोजन के दौरान मौजूद रहेंगे।