चलती ट्रेन में चढ़ने की कोशिश में महिला फिसली

चलती ट्रेन में चढ़ने की कोशिश में महिला फिसली

बीना। रेलवे स्टेशन पर शाम पांच बजे एक महिला भोपाल की ओर जाने वाली चलती ट्रेन में चढ़ने का प्रयास कर रही थी। इस बीच ट्रेन ने गति पकड़ ली और महिला ट्रेन की गति के साथ तालमेल नहीं बना पाई और घिसट गई। महिला को घिसटते हुए प्लेटफार्म पर खड़े जीआरपी जवान ने देखा और दौड़कर उसे बचाया। पूरी घटना प्लेटफार्म पर लगे सीसीटीवी कैमरों में रिकार्ड हो गई। बीना स्टेशन पर चलती ट्रेन में चढ़ने का प्रयास कर रही थी महिला, जीआरपी जवान ने बचाया। जीआरपी के जवान जितेंद्र सिंह ने बताया मैं अपने एक साथी ऋषि दांगी के साथ प्लाजा तक चाय पीने आया हुआ था। शाम के पांच बजकर 40 मिनट हो रहे थे और प्लेटफार्म से धीरे धीरे भोपाल की ओर जाने वाली मेमू एक्सप्रेस आगे बढ़ रही थी। इस बीच एक बुजुर्ग महिला दौड़कर आई और चलती ट्रेन में चढ़ने का प्रयास करने लगी। मेमू एक्सप्रेस चलने के साथ ही तेज गति पकड़ लेती है। महिला ट्रेन की गति के साथ तालमेल नहीं बना पाई। महिला ने ट्रेन के गेट पर लगे हैंडल पकड़ लिए थे, इस कारण से वह घिसटने लगी। जितेंद्र सिंह ने कहा जैसे ही महिला को ट्रेन के साथ घिसटते हुए मैंने देखा, मैंने हाथ में पकड़ी चाय फेंकी और महिला को बचाने के लिए दौड़ लगा दी। मेरे साथ आरक्षक ऋषि दांगी भी दौड़ा। महिला ट्रेन के साथ लगभग 50 मीटर से ज्यादा घिसट चुकी थी, मैंने तेजी से आगे बढ़कर उसे पकड़ा और ट्रेन से अलग किया।

जीआरपी के जवान ने बताया महिला का कुर्ता फट गया था, लेकिन अच्छी बात यह रही कि चोट नहीं आई थी। महिला के दोनों पैर प्लेटफार्म और ट्रेन के बीच में आ गए थे, यदि उसे बचाने में कुछ देर और हो जाती तो बड़ा हादसा हो सकता था। इसके बाद किसी ने ट्रेन की चैन खींचकर ट्रेन को रोक दिया। हमने महिला के हालचाल पूछे और फिर उसी ट्रेन में बैठाकर भोपाल की ओर रवाना कर दिया। आरक्षक जितेंद्र सिंह बघेल ने बताया कि उसी ट्रेन से हमारा एक स्टाफ मंडीबामोरा तक जाता है। जब महिला को ट्रेन में बैठाया तो ट्रेन में मौजूद आरक्षक दीवान सिंह गुर्जर ने महिला से बातचीत की। उसका हाल और नाम, पता पूछा। महिला का नाम आयशा खान उम्र 59 वर्ष जो जहांगीराबाद भोपाल की रहने वाली थी।

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