बुंदेलखंड के विकास की रफ्तार तेज: सागर जिले पर मोहन सरकार का विशेष फोकस, कई बड़ी परियोजनाओं को मिली मंजूरी
सागर/भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के नेतृत्व में बनी मध्य प्रदेश सरकार ने बुंदेलखंड अंचल के प्रमुख जिले सागर के सर्वांगीण विकास को प्राथमिकता दी है। कैबिनेट स्तर पर लिए गए अहम निर्णयों और मौके पर की गई घोषणाओं के जरिए सरकार ने जिले को बुनियादी ढांचे, औद्योगिक निवेश, रोजगार, शिक्षा, स्वास्थ्य और पर्यावरण संरक्षण से जुड़ी कई योजनाओं की सौगात दी है। इन पहलों से जहां विकास को नई दिशा मिली है, वहीं स्थानीय लोगों की उम्मीदें भी सरकार से और अधिक बढ़ गई हैं।
सड़क और संपर्क व्यवस्था को मजबूती
कैबिनेट ने सागर से दमोह के बीच 76 किलोमीटर लंबे फोरलेन मार्ग के निर्माण को मंजूरी दी है। इस परियोजना पर लगभग 2059 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। माना जा रहा है कि इस सड़क के बन जाने से बुंदेलखंड क्षेत्र में कृषि उत्पादों की आवाजाही आसान होगी, व्यापारिक गतिविधियों को गति मिलेगी और पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा। इसके साथ ही सागर-कानपुर फोरलेन के निर्माण कार्य को भी तेज रफ्तार से आगे बढ़ाया जा रहा है। जिले में सड़क नेटवर्क की स्थिति को बेहतर बनाने के लिए लगातार काम किया जा रहा है।
विकास कार्यों का भूमिपूजन और लोकार्पण
मुख्यमंत्री पद संभालने के बाद डॉ. मोहन यादव ने सागर को लेकर अपनी पहली बड़ी घोषणा रानी अवंती बाई राजकीय विश्वविद्यालय की की थी, जिसका संचालन शुरू हो चुका है। इसके अलावा उन्होंने शहर में आयुर्वेदिक महाविद्यालय खोलने की भी घोषणा की थी।
हाल ही में मुख्यमंत्री ने जैसीनगर क्षेत्र में 200 करोड़ रुपये से अधिक की लागत वाले विकास कार्यों का भूमिपूजन और लोकार्पण किया, जिससे स्थानीय बुनियादी सुविधाओं को मजबूती मिलने की उम्मीद है।
औद्योगिक विकास से रोजगार की राह
औद्योगिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए गढ़पेरा क्षेत्र में 608 हेक्टेयर भूमि पर एक बड़े औद्योगिक क्षेत्र के विकास का निर्णय लिया गया है। इस परियोजना से लगभग 30 हजार लोगों को रोजगार और स्वरोजगार के अवसर मिलने की संभावना जताई जा रही है।
इसके अलावा सागर में आयोजित रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव के दौरान 23,181 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश प्रस्ताव सामने आए हैं, जिनके माध्यम से करीब 28 हजार नौकरियों का खाका तैयार किया गया है। निवेश को आसान बनाने के उद्देश्य से सागर संभाग के छह जिलों में निवेश सुविधा केंद्रों का उद्घाटन भी किया गया है।
शिक्षा और स्वास्थ्य को प्राथमिकता
शिक्षा के क्षेत्र में सरकार ने सागर जिले में राजकीय विश्वविद्यालय स्थापित करने का एलान किया है, जो लंबे समय से क्षेत्र की मांग रही थी। वहीं बंडा में सांदीपनि विद्यालय का शुभारंभ किया गया है।
स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने के लिए जिले में तीन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र और चार उप स्वास्थ्य केंद्रों को मंजूरी दी गई है, जिससे ग्रामीण और दूरस्थ इलाकों में चिकित्सा सुविधाओं का विस्तार होगा।
वन्यजीव संरक्षण की दिशा में कदम
पर्यावरण और वन्यजीव संरक्षण के क्षेत्र में भी सागर जिले को अहम सौगात मिली है। वीरांगना दुर्गावती टाइगर रिजर्व के अंतर्गत आने वाले नौरादेही क्षेत्र को चीतों के पुनर्वास के लिए देश के तीसरे नए ठिकाने के रूप में सैद्धांतिक स्वीकृति प्रदान की गई है। इससे क्षेत्र में जैव विविधता संरक्षण के साथ-साथ इको-टूरिज्म को भी बढ़ावा मिलने की संभावना है।
इन तमाम घोषणाओं और योजनाओं के जरिए मोहन सरकार ने सागर जिले के विकास को नई गति देने का संकेत दिया है।

