Monday, December 22, 2025

खुरई: सहना सीखो सह लिया तो संत हो जाओगेः संत श्री कमल किशोर नागर जी

Published on

सहना सीखो सह लिया तो संत हो जाओगेः संत श्री कमल किशोर नागर जी

माँ माथे पे हाँथ फेर देती है तो सारा बजन उतर जाता हैः पूज्य संत नागर जी, जामन और ज्ञान बेचा नहीं जा सकता यह अमूल्य हैः संत श्री नागर जी, कथा का समापन आज, विशाल भंडारे का आयोजन कल

गजेंद्र ठाकुर। सागर। माँ के बिना बचपन, महात्मा के बिना जीवन और परमात्मा के बिना मरण बेकार है। बड़े वो भी हो गए जिनके बचपन मे ही मां का वियोग हो गया। जीवन वो भी निकाल रहे हैं, जो कभी किसी महात्मा के संपर्क में न आये। मृत्यु होती है, परंतु वह दुख वही जानते हैं जिन्होंने बचपन से माँ का वियोग भोगा है। बड़े हो जाना, शादी हो जाना, धंदे से लग जाना, हो जाता है ये सब। बचपन कितनी मुसीबत से कटा, जो माँ का प्यार, माँ की गोद, उसके हाँथ का भोजन, दुलार इसका बहुत फर्क पड़ता है। पूज्य संत श्री कमल किशोर नागर जी ने खुरई में चल रही श्रीमद् भागवत कथा के छटवें दिवस के सोपान में इन तीन शब्दों से कथा की शुरूआत की।
संत श्री नागर जी ने कथा में कहा कि एक माँ का दूध पिये और एक सीसी का, बड़े दोनो हो जाते हैं। लेकिन दोनों में बहुत फर्क होता है। भगवान कभी बचपन मे माँ से वियोग न कराबे, जीवन में महात्मा से और मरण में परमात्मा से विमुख न हों।
लगभग डेढ़ लाख से ज्यादा भक्तों से भरे पंडाल में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा के प्रारंभ में पूज्य संत श्री कमल किशोर नागर जी ने कहा कि इस कथा का परम मनोरथ यजमान श्री भूपेंद्र सिंह जी को प्राप्त हुआ है, ठाकुर जी ने ठाकुर पर बड़ी कृपा करी। संत नागर जी ने समस्त धर्मसभा और व्यास गादी की ओर से यजमान परिवार का साधुवाद किया। संत श्री नागर जी ने कथा में आगे कहा कि माँ शब्द क्यों दिया, पिता भी है, क्योंकि माँ का गौरव बढ़ा है ऐसा शास्त्रों का मानना है। माँ का गौरव बड़ा है इसलिए नारी कभी पिता के यहां नही जाती। उससे पूछो कहा गयी थी, तो मायके गयी थी। पिताके, भाईके, भाभीके नही मायके गयी थी। जब नारी मायके जाती है, माता पिता सबको देख के उसकी सब थकान भाग जाती है। नारी का जितना भरा पूरा घर हो, भैया भाभी बहुत अच्छा रखते भी हों, सम्मान भी करते हों, अच्छा साड़ी कपड़ा देते हैं। पर बहिन जब मायके जाती है और माँ नजर नही आती है तो उसकी पूर्ति कोई नहीं कर सकता। भैया भाभी अच्छा रखते हैं, तीन तीन बार भोजन की पूछते हैं, पास में बैठके बात करते हैं, फिर वही उसको बात वही, सब कुछ है पर मां नही है। माँ माथे पे हाँथ फेर देती है सारा बजन उतर जाता है उसका।

संत नागर जी ने कहा कि भीष्म पितामह की इक्छा थी कि में द्वारकानाथ श्रीकृष्ण की गोद मे ही शरीर त्यागूंगा। जटायु ने यदि श्रीराम की गोद मे शरीर छोड़ा, जटायु कहता बचपन से की मेरी माँ कह गयी थी कि राम राम जपना, वो जपता रहा और श्रीराम की गोद मे प्राण त्यागे। जटाओं वाले भीष्म पितामह ने इक्छा करी थी कि गोद मे शरीर छोडूं भगवान के, वो जटा वाला रह गया और जटायु गोद मे चला गया।
दुष्ट के यहां का कण खाने से भीष्म पितामह को वाण पे शरीर छोड़ना पड़ा। अंत मे श्रीकृष्ण मिलने भी गए, भीष्म ने कहा द्वारकाधीश देखो वाण पे सोया हूँ, आपकी गोद की इक्छा थी पर ऐसी स्थिति है। जटा और जटायु में फर्क क्या पढ़ गया, एक नारी की साड़ी खींची गई थी, कोई साड़ी खींच रहा था, उसको सह लिया देखते रहे, विरोध नही किया कि क्यों खींच रहे हो और जटायु ने एक नारी का अपहरण होते देखा तो अपने प्राण की बाजी लगा दी। संत श्री नागर जी ने कहा कि अन्याय का विरोध करो चाहे वह पूरा हो न हो अन्याय का विरोध करना चाहिए कि ये गलत है। अन्याय हो रहा हो तो रोकें, वर्ना वहां से उठके चल दें कि हमारे बस का नही है। भीष्म पितामह ने साड़ी थोड़ी खींची, वो कोई और था, ये सब होते हुए देखा इसका दोष है।
संत श्री नागर जी ने कथा में कहा कि मां ने पीड़ा सही तब वह मां बनी, पीपल के पत्ते की तरह तड़पी है, इतनी पीड़ा सही तब मां बनी है और यही पीड़ा आदमी को महात्मा बना देती है। सहना सीखो सह लिया तो संत हो जाओगे। अगर नारी पीड़ा सहने से मना करते तो मां बन ही नहीं सकती।
जामन और ज्ञान बेचा नहीं जा सकता यह अमूल्य है। ज्ञान की कोई कीमत नहीं होती, कभी-कभी अफवाह भी उड़ जाये की इतने बड़े मंत्री जी की यहां कथा हो रही है क्या पता कितना खर्च हुआ होगा। कोई न घबराएं इस बात से कि कथा महगी है। व्यवस्थाएं महँगी हो सकतीं हैं, माईक, पंडाल, व्यवस्थाओं में लगे सेवकों की भोजन व्यवस्था। इसमें खर्च हो सकता है, लेकिन कथा की कोई दक्षिणा नहीं।
संत श्री नागर जी ने कहा कि मानव शरीर मिले, मन चाहे भोग मिले, नाते व रिश्ते मिलें, पत्नी का सहयोग मिले, बेटा और पोता मिले, रहने का मकान मिले, बाग मिले, बगीचा मिले, खेत और खलिहान मिले और मिले और मिले लगे दौड़म-दौड़ में और जो राम मिले तो सब सुख जाएं भाड़ में।
संत श्री नागर जी ने श्रीमद्भागवत कथा में कहा यदि कथा में रूचि ज्यादा है, भजन पूजन में ज्यादा है, देव दर्शन में ज्यादा है तो आपके अंदर सतोगुण की मात्रा बड़ी रहनी चाहिए। थोड़ा तमोगुण भी चाहिए बच्चों को डांटना है कोई गलत काम कर रहा है तो उसको चमकाना है ताकि वह चुप हो जाए, पर तमोगुण की मात्रा शरीर में ज्यादा न हो, सतोगुण की मात्रा ज्यादा हो सतोगुण के ज्यादा होने से उसके अंदर जो भी बीज बोया जाएगा वह अच्छा होगा। जमीन नरम होती है तो बीज अच्छा उगता है, कड़क होती है तो अच्छा नहीं उगता है। खेत पूरा जोता सत्संग कर-करके अपने अंतःकरण को इतना सरल बना दो कि इसमें ये ज्ञान ठहरे।

कथा की छटवीं वेला के अवसर पर मुख्य यजमान प्रदेश सरकार के नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह और उनके समस्त परिजन, खुरई के समस्त गणमान्य, महापौर संगीता तिवारी, महापौर प्रतिनिधि डॉ सुशील तिवारी, बीना विधायक महेश राय, रंजोर सिंह बुंदेला शाहगढ़, जाहर सिंह, विनीत पटेरिया, लक्ष्मण सिंह, राजकुमार बरकोटी, वीर सिंह पवार, प्रभुदयाल पटैल, संजय जैन, अर्जुन सिंह राय, मुन्ना अग्रवाल, जितेन्द्र यादव, गोविंद सिंह, संदीप सिंह बासोदा, लखन सिंह, जगन्नाथ सिंह दांगी, अभिषेक गौर, उत्तम सिंह शाहपुर, नरेश यादव, अजीत सिंह चील पहाड़ी, श्याम सुन्दर शर्मा रामकुमार सिंह बघेल, पुष्पेन्द्र ठाकुर, समस्त पार्षदगण, नगर पालिका के पदाधिकारी शामिल थे।

कथा का समापन आज, विशाल भंडारे का आयोजन कल
खुरई के गुलाबरा बगीचा में पूज्य संत श्री कमल किशोर नागर जी के श्रीमुख से चल रही भव्य श्रीमदभागवत कथा का आज समापन होगा। इसी प्रकार कल शुक्रवार 16 दिसम्बर को प्रातः 10 बजे से रात्रि 9 बजे तक भैरव बाबा मंदिर, गुलाबरा बगीचा खुरई में विशाल भंडारे का आयोजन श्रीमदभागवत कथा के मुख्य यजमान श्री भूपेंद्र सिंह द्वारा आयोजित किया गया है। खुरई विधायक और प्रदेश के नगरीय विकास एवं आवास मंत्री श्री भूपेंद्र सिंह ने सभी को सपरिवार सादर आमंत्रित कर विशाल भंडारे में प्रसादी पाकर धर्मलाभ लेने का आग्रह किया है।

Latest articles

BJP प्रदेश महामंत्री रणदिवे की सागर में बैठक, बोले हमारे नेतागण कांग्रेस और नेहरू के गुनाह सदन में गिनाते हैं

सागर में भाजपा प्रदेश महामंत्री एवं सागर संभाग प्रभारी गौरव रणदिवे ने कामकाजी बैठक...

Weekly horoscope: दिसंबर का तीसरा सप्ताह लाएगा बड़ा बदलाव, जानिए आपकी राशि क्या कहती है

Weekly horoscope: दिसंबर का तीसरा सप्ताह लाएगा बड़ा बदलाव, जानिए आपकी राशि क्या कहती...

नौ विकेट से इंदौर को हराकर भोपाल मीडिया टीम ने वार्षिक मैत्री मैच जीता

नौ विकेट से इंदौर को हराकर भोपाल मीडिया टीम ने वार्षिक मैत्री मैच जीता टी-20...

More like this

BJP प्रदेश महामंत्री रणदिवे की सागर में बैठक, बोले हमारे नेतागण कांग्रेस और नेहरू के गुनाह सदन में गिनाते हैं

सागर में भाजपा प्रदेश महामंत्री एवं सागर संभाग प्रभारी गौरव रणदिवे ने कामकाजी बैठक...

Weekly horoscope: दिसंबर का तीसरा सप्ताह लाएगा बड़ा बदलाव, जानिए आपकी राशि क्या कहती है

Weekly horoscope: दिसंबर का तीसरा सप्ताह लाएगा बड़ा बदलाव, जानिए आपकी राशि क्या कहती...
khabarkaasar
khabarkaasarhttps://khabarkaasar.com/
हिंदी पत्रकारिता के क्षेत्र में 2006 से सक्रिय विभिन्न समाचार पत्रों और मैगजीन में कार्यरत रहा हूँ बदलते परिवेश के साथ डिजिटल मीडिया तेजी से ग्रोथ पर हैं "खबर का असर डॉट डॉम" न्यूज़ वेबसाइट पर कार्य करते हुए लंबा अनुभव हो गया। यहां स्वतंत्र रूप से निष्पक्ष पत्रकारिता करने का अच्छा अवसर मिल, आप सब पाठकों का स्नेह और सहयोग रूपी व्यू हिट्स भी लाखों में दर्ज हो रहे हैं। केवल खबरो पर केंद्रित यह न्यूज़ वेबसाइट जनता की आवाज बन चुकी हैं।