कोरोना मुक्ति अभियान के अंतर्गत कोविड-19 अनूकूल व्यवहार एवं कोविड-19 वेक्सीनेशन का जिलास्तरीय उन्मुखी कार्यक्रम आयोजित
सागर –
पं. दीनदयाल उपाध्याय,शासकीय कला एवं वाणिज्य महाविद्यालय, सागर में कलेक्टर दीपक सिंह के निर्देशन में कोरोना मुक्ति अभियान के अंतर्गत कोविड-19 अनुकूल व्यवहार एवं कोविड-19 वैक्सीनेशन का जिला स्तरीय उन्मुखी कार्यक्रम आयोजित किया गया।
जिलास्तर पर आयोजित इस कार्यक्रम में इंजीनियरिंग कॉलेज, सागर एवं जिले के समस्त शासकीय महाविद्यालयों से दो प्राध्यापकों ने इस कार्यक्रम में मास्टर ट्रेनर के रूप में सहभागिता की। ये मास्टर ट्रेनर दिनांक 18 जून से अपने-अपने महाविद्यालयों में 50-50 विद्यार्थियों को दो सत्रों में प्रशिक्षण देंगे तथा विद्यार्थी अपने परिवार एवं आस-पास के क्षेत्रों में कोरोना अनुकूल व्यवहार एवं कोविड-19 टीकाकरण की जानकारी प्रसारित करेंगे। प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों की जानकारी कोवि संदेश एप पर शासन को भेजी जायेगी।
मुख्य वक्ता के रूप में जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. रोशन ने कहा कि कोविड-19 टीका अत्याधिक प्रभावी है कोरोना से होने वाली संभावित मृत्यु दर में 95 प्रतिशत एवं भर्ती होने की दर में 86 प्रतिशत की कमी लाता है। कोरोना से बचाव के तीन चरण हैं संक्रमित व्यक्ति की पहचान जल्द सुनिश्चित हो पहचान सुनिश्चित होने के बाद उचित मार्गदर्शन के साथ इलाज शुरू हो तथा तीसरे चरण में स्वस्थ्य व्यक्ति को कोरोना व्यवहार की जानकारी अच्छे तरीके से आती हो।
डॉ. जी. एस. रोहित प्राचार्य ने कहा कि युवा शक्ति कोरोना मुक्ति अभियान के अंतर्गत आयोजित इस कार्यक्रम में सभी प्रशिक्षाणार्थियों को कोरोना से संबंधित भ्रांतियों के समाधान के लिए तथ्य बताये गये। जिससे विद्यार्थियों के माध्यम से ये तथ्य समाज तक पहुॅचेंगे। समाज में अनेक तरह की भ्रातियां हैं जैसे वेक्सीन का ट्रॉयल सही और पूर्ण नहीं हुआ है, यह टीका लगवाने से नसबंदी हो जाती है, कोरोना वेक्सीन से मौत हो जाती है इत्यादि भ्रांतियों का समाधान इस उन्मुखी कार्यक्रम में हुआ। आपने बताया कि टीका प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने का टॉनिक है साथ ही टीका आशा है निराशा नहीं।
इंजीनियरिंग कॉलेज सागर के प्राचार्य डॉ. अनुराग त्रिवेदी ने कहा कि इस महामारी में टीकाकरण कारगार शस्त्र है जिन्हें दोनों टीके सही समय पर लग चुके हैं उनमें मृत्यु दर तथा कोविड पश्चात् विकलांगता दर में आशातीत कमी आयी हैं। डॉ. अमर कुमार जैन ने कार्यक्रम का संचालन करते हुये कहा कि विद्यार्थियों को हमें एस.एम.एस. समझाना है अर्थात् एस से सोशल डिस्टेंशिंग, एम से मास्क तथा एस से सेनेटाइजर इन नियमों को पालन करेंगे तो निश्चित ही हम जल्द ही कोरोना मुक्त संसार में रह सकेंगे। आभार डॉ. अमर कुमार जैन ने माना।